कुँवर नारायण कवि परिचय
कुँवर नारायण कवि परिचय
जन्म - 19 सितम्बर, 1927
मृत्यु- 15 नवम्बर, 2017
जीवन परिचय-
कुँवर नारायण का
जन्म 19 सितम्बर, 1927 को फैजाबाद, उत्तरप्रदेश
में हुआ था। शिक्षा- इन्होंने इंटर तक की शिक्षा विज्ञान वर्ग से प्राप्त की थी।
साहित्य में रुचि होने के कारण उन्होंने 1951 में अंग्रेजी में एम. ए. लखनऊ
विश्वविद्यालय से किया।
व्यक्तित्व -
हिन्दी के
सम्मानित कवियों में गिने जाने वाले कुँवर नारायण जी की प्रतिष्ठा और आदर हिन्दी
साहित्य की भयानक गुटबाजी से परे सर्वमान्य हैं। कला की विभिन्न विधाओं में गहरी
रुचि रखने वाले रसिक विचारक के समान है। कुँवर जी को अपनी रचनाशीलता में इतिहास और
मिथक के माध्यम से वर्तमान को देखने के लिए जाना जाता है। ये पूरी तरह नागर
संवेदना के कवि हैं।
रचनाएँ -
काव्य संग्रह - चक्रव्यूह, तीसरा सप्तक, हम तुम, अपने सामने कोई दूसरा नहीं। खंडकाव्य - आत्मजयी।
कहानी संग्रह - आकारों के आस-पास।
समीक्षा - आज और आज से पहले, मेरे साक्षात्कार आदि उत्तर भारत की स्थानीय बोलियाँ, फारसी, अरबी जैसी इस्लामी भाषाओं के अलावा, अंग्रेजों के बढ़ते वर्चस्व और उनकी भाषा द्वारा भारतीय सामाजिक संरचना के हर आयाम के लिए किए गए गहरे औपनिवेशिक हस्तक्षेप में है, आधुनिक हिन्दी साहित्य की खड़ी बोली, विचारों में खुलापन, भाषा और विषय की विविधता कविताओं के विशेष गुण हैं। संशय, संभ्रम, प्रश्नाकुलता कविता के बीज शब्द हैं।
साहित्य में स्थान -
2009 में वर्ष 2005 के ज्ञानपीठ पुरस्कार से सम्मानित देश के सबसे बड़े साहित्य सम्मान से, साहित्य अकादमी सम्मान, कुमार आशन पुरस्कार, प्रेमचंद पुरस्कार, राष्ट्रीय कमीर सम्मान, अंतर्राष्ट्रीय, फेरेनिया सम्मान और 2009 में पद्मभूषण सम्मान से सम्मानित किया गया है।